रूपकुण्ड का रहस्य ~ भाग १
किसके थे यह कंकाल? कितने वर्ष पुराने थे इनके अवशेष? किसने किया था इनका संहार?
प्राचीन से समकालीन तक…
किसके थे यह कंकाल? कितने वर्ष पुराने थे इनके अवशेष? किसने किया था इनका संहार?
रावण यदि श्राप के प्रभाव में नहीं होता तो वह सीताजी को भी स्पर्श करने का प्रयास अवश्य करता।
भारत के लिए द्रोहियों की कहानी कोई आश्चर्य की बात नहीं है।
लेकिन मैं उस मार्ग को छोड़ चुका था और मेरे लिए उस रास्ते पर फिर से जाना निरर्थक था।
हिंदू मंदिर में घंट, पुष्प, धूप और प्रसाद का महत्व
भगवान विष्णु के दस अवतारों में से एक वराह का अवतार भी है यह तो अधिकांश लोग जानते ही हैं…
ब्राह्म मुहूर्त का समय हो चला था, महादेव को संध्या वंदन करते हुए इस क्षीण अवस्था में भी बाजीप्रभु ने…
वह गुरु पूर्णिमा की रात थी। चंद्र अपनी पूर्ण कला में प्रकाशमान होता यदि वह बादलों से घिरा ना होता।…
आम जनधारणा में वैकुंठ को विष्णु का निवास स्थान माना जाता है लेकिन कुछ जानकारों के मतानुसार वै-कुंठ = जहां…
स्वतंत्र भारत की सरकारों द्वारा सिक्कों पर देवी देवताओं को स्थान नहीं देना।